The Thief | Fuminori Nakamura | Book Review

The Thief Book Review Hindi: टोक्यो के इस चोर की कहानी आपको झकझोर देगी!

कहानी का सार (बिना स्पॉइलर)

टोक्यो की भीड़ में एक अनाम चोर बिना किसी की नज़र पकड़े, लोगों के बटुए चुराने का मास्टर है। उसकी उंगलियाँ इतनी चुस्त हैं कि कभी-कभी उसे खुद याद नहीं रहता कि चोरी कब की! वह अकेला, बिना परिवार या दोस्तों के जीता है, मगर उसका अंधेरा अतीत उसका पीछा करता है। जब उसका पुराना साथी इशिकावा उसे एक “आसान काम” ऑफर करता है एक अमीर बूढ़े आदमी को बांधकर उसकी तिजोरी लूटना—सब कुछ बदल जाता है। यह काम इतना सरल नहीं निकलता, और चोर खुद को याकुज़ा गैंग के जाल में फंसा पाता है।

किरदार: रहस्यमयी मगर दिलचस्प

  • अनाम चोर: नायक जितना बेरहम दिखता है, उससे कहीं ज़्यादा संवेदनशील है। एक भूखे बच्चे और उसकी माँ से मुलाकात उसमें पितृत्व की भावना जगाती है। वह बच्चे को चोरी के गुर सिखाता है, मगर साथ ही उसे गुनाहगार ज़िंदगी से दूर रहने की नसीहत भी देता है।
  • किज़ाकी: याकुज़ा का खूंखार बॉस जो खुद को “भाग्य का देवता” समझता है। वह लोगों को मोहरों की तरह इस्तेमाल करता है और चोर को तीन असंभव कामों में फंसा देता है ।
  • इशिकावा: चोर का पुराना साथी जो उसे धोखे में डालकर जानलेवा मुसीबत में फंसा देता है।

लेखन शैली और खूबियाँ

  • नॉवेल या नॉवेला? सिर्फ 211 पन्नों की यह किताब जापानी “ज़ेन नॉवर” शैली का बेहतरीन नमूना है—ठंडी, बेरहम, मगर दिमाग़ में चिपक जाने वाली ।
  • दर्शन और डार्कनेस: चोर के मन में एक “टावर” का विचार उसके टूटे सपनों और नाकामयाबी का प्रतीक है। किज़ाकी के डायलॉग (“जब दुनिया में एक भी भूखा बच्चा है, तो सारी संपत्ति चोरी है!”) पाठक को झकझोर देते हैं ।
  • अंतरराष्ट्रीय पहचान: जापान के प्रतिष्ठित ओए पुरस्कार से सम्मानित इस नॉवेल का अनुवाद 40+ भाषाओं में हुआ है ।

कमज़ोरियाँ: क्या यह सबके लिए है?

  • धीमी शुरुआत: पहले अध्याय में चोरी के टेक्निकल विवरण कुछ पाठकों को बोर कर सकते हैं ।
  • अस्पष्ट अंत: किताब का अंत एक सिक्के के उछाल के साथ होता है—पाठक को खुद तय करना होता है कि चोर बचा या मरा ।
  • स्त्री पात्रों की कमी: माँ का किरदार एक क्लिशे ड्रग एडिक्ट वेश्या के रूप में चित्रित है, जो अपने बच्चे को पैसों के लिए बेचने को तैयार है ।

कुल मिलाकर रेटिंग

पहलूरेटिंग (5 में से)
कहानी4
किरदार4
लेखन3.5
मनोरंजन3.5

विधा: जापानी क्राइम फिक्शन, साइकोलॉजिकल नॉवर
सिफारिश: जापानी साहित्य या गहन मनोवैज्ञानिक थ्रिलर के शौकीनों के लिए परफेक्ट। शुरुआती पाठकों को कुछ पन्ने पढ़कर तय करना चाहिए ।

“चोर” आपको टोक्यो की अंधेरी गलियों में खींच ले जाएगा, जहाँ इंसानियत और बर्बरता की लकीरें धुंधली हैं। अगर आपको “नॉवर” विधा पसंद है, तो यह किताब आपकी लाइब्रेरी का हिस्सा बनने लायक़ है!

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *